स्याना। शनिवार को नगर के बीडीएम पब्लिक स्कूल में सीबीएसई द्वारा एक दिवसीय कार्यशाला आयोजित की गई। जिसमें 40 स्कूलों के 60 शिक्षकों को ‘अभिवावकों को शिक्षा का महत्व व बच्चों के शैक्षिक विकास में उनकी भूमिका’ विषय पर महत्वपूर्ण जानकारियां दी गई। कार्यशाला का शुभारंभ स्कूल प्रधानाचार्य शरद शर्मा, सीबीएसई रिसोर्स पर्सन अनुराधा शर्मा व आरती मित्तल ने संयुक्त रूप से मां सरस्वती के चित्र के सम्मुख दीप प्रज्ज्वलित कर किया। सीबीएसई रिसोर्स पर्सन अनुराधा शर्मा ने कहा कि नकारात्मक तनाव छात्रो में विद्रोह पैदा करता है। इसे सकारात्मक ऊर्जा में बदलना शिक्षकों व अभिवावकों का दायित्व है। शिक्षक कोशिश करें कि छात्र पढ़ाई को बोझ ना समझे। आरती मित्तल ने कहा कि शिक्षक छात्रो को सवाल पूछने की आदत डाले और अपनी परफॉर्मेंस से संतुष्ट होने के लिए प्रोत्साहित करे। स्कूल प्रधानाचार्य शरद शर्मा ने अभुनावात्मक अधिगम के विभिन्न पहलुओं पर चर्चा करते हुए शिक्षकों से इसे अपनाने का अनुरोध किया। इस दौरान अभिवावकों को शिक्षा के प्रति जागरूक व बच्चों के शैक्षिक विकास में सहायक बनने को लेकर प्रेरित भी किया गया। शिक्षिका रेखा चौहान ने कहा कि शिक्षा वह दीपक है जो अज्ञानता के अंधकार को मिटाकर जीवन को उज्जवल बनाती है। यह केवल ज्ञान का संग्रह नहीं, बल्कि व्यक्तित्व का निर्माण करती है। शिक्षा हमें न केवल सफलता की ओर ले जाती है, बल्कि हमें एक बेहतर इंसान बनने में भी मदद करती है। हर दिन कुछ नया सीखने की चाह हमें जीवन में आगे बढ़ने और समाज को सकारात्मक दिशा में बदलने का मार्ग दिखाती है। कार्यशाला का संचालन कमल सिंह ने किया। इस दौरान कीर्ति शर्मा, शिवानी गुलाटी, स्वाति सिंह, ममता त्यागी, निधि शर्मा व नितिन शर्मा आदि मौजूद रहे।

Author: Akshit Agarwal
सीनियर एडिटर