–पहले ही प्रयास में देशभर में दूसरी रैंक पाकर स्थापित किया कीर्तिमान
–जनपद के साथ उत्तर भारत के लिए बड़ी उपलब्धि
कासगंज। शहर के आवास विकास कॉलोनी निवासी होनहार युवा ने अपनी प्रतिभा का परचम पूरे देश में लहरा दिया। अपने पहले ही प्रयास में एनडीए परीक्षा में देशभर में दूसरी रैंक हासिल कर नया कीर्तिमान स्थापित किया है। यह जनपद के साथ साथ उत्तर भारत के लिए गर्व का विषय है। एक छोटे से शहर के युवा ने अपने हुनर से देश में अपनी पहचान बनाकर अपने जनपद का नाम रोशन कर दिया। यह अभूतपूर्व उपलब्धि पाकर दिव्यांश सोलंकी अन्य युवाओं के लिए प्रेरणाश्रोत बन गए हैं। परिवार में पिता धीरेन्द्र सोलंकी एवं मां डॉ मंजू चौहान शिक्षक है, बड़ा भाई मृदुल सोलंकी नीट परीक्षा पास कर एमबीबीएस कर रहा है।
एनडीए परीक्षा का परिणाम आते ही दिव्यांश अपने माता पिता के पास आ गया। उनके आने एवं सफल होने की सूचना पाकर शुभचिंतकों का तांता लग गया। लोग फूलमालाओं से स्वागत एवं मिठाई खिलाकर अपनी शुभकामनाएं प्रेषित कर रहे हैं। हर कोई उनकी प्रशंसा एवं अपने बच्चों को इसी प्रकार सफल होने की लालसा लिए उनके घर दौड़ा चला आ रहा है। करीबी शुभचिंतक दीपक मिश्र एवं राकेश राजपूत ने बताया कि दोनों बच्चों को उनकी रुचि अनुरूप सही मार्गदर्शन मिलने से उज्जवल भविष्य की ओर अग्रसित हुए हैं। हर मां बाप को बच्चे की रुचि के अनुसार अपने करियर की तरफ बढ़ना चाहिए। इस दौरान चेतन चौहान एडवोकेट, सत्येंद्र सिंह, राकेश राजपूत, सुमित कुमार आदि ने अपनी शुभकामनाएं प्रेषित की हैं।
मात्र 12 वर्ष की अवस्था में पढ़ाई के लिए छोड़ा घर
संपूर्ण देश में दूसरी रैंक लाने वाले दिव्यांश ने पढ़ाई के लिए मात्र 12 वर्ष की अवस्था में घर छोड़ दिया था। शुरुआती शिक्षा कासगंज में ही होने के बाद कक्षा 7 में उनका चयन सैनिक स्कूल लखनऊ के लिए हो गया था। प्रारंभिक अवस्था में घर से दूर रहना बेहद चुनौतीपूर्ण रहा किंतु पढ़ाई में मन लगाए रहने से धीरे धीरे लक्ष्य के प्रति गंभीर होते चले गए। सफलता पर यकीन जरूर था किंतु मेहनत और लगन का परिणाम इस प्रकार मिलेगा इसका अंदाजा उन्हें स्वयं नहीं था।
इसी वर्ष दी है बारहवीं की परीक्षा
दिव्यांश ने इस वर्ष फरवरी मार्च में बारहवीं की परीक्षा दी है। इंटरमीडिएट की परीक्षा का परिणाम आने से पहले ही उन्हें एनडीए परीक्षा का परिणाम मिल गया। चयन पाकर वह बेहद उत्साहित एवं खुश नजर आ रहे हैं। अपनी सफलता का श्रेय उन्होंने अपने दादा जी, माता, पिता एवं गुरुओं को दिया है।

Author: Santosh Kumar
ब्यूरो चीफ : कासगंज